विषय पर बढ़ें

जब साइबर सुरक्षा विशेषज्ञ ने सड़क पर CopperBolt का पीछा किया – एक मसालेदार तकनीकी यात्रा

कभी सोचा है कि किसी आईटी या साइबर सुरक्षा एक्सपर्ट का असली काम कैसा होता है? आपको लगता होगा – लैपटॉप, एयर-कंडीशंड ऑफिस, और ढेर सारा कोड। पर यहाँ कहानी कुछ और ही है! आज हम आपको ले चलते हैं अमेरिका की सड़कों पर, जहाँ एक साइबर सुरक्षा सलाहकार (कंसल्टेंट) अपने काम के सिलसिले में CopperBolt नाम की डिवाइस का पीछा करता है – और इस बीच उसके साथ जो-कुछ होता है, वो एक मसालेदार हिंदी फिल्म की तरह है।

तकनीकी जासूसी और देसी जुगाड़

हमारे नायक (चलो मान लेते हैं कि उनका नाम रवि है) को कंपनी ने Kansas में एक इंपॉर्टेंट क्लाइंट के पास भेजा है। लेकिन ऑफिस की राजनीति से बचने के लिए उन्होंने अपने रोड ट्रिप की खबर मैनेजमेंट को बताना जरूरी नहीं समझा—क्योंकि भाई, “दूध का जला छाछ भी फूंक-फूंक कर पीता है” वाली बात है।

रवि की असली दिलचस्पी है CopperBolt नाम की एक डिवाइस में, जो स्कूलों और लाइब्रेरी में लगी है। कंपनी की लैब में तो ये डिवाइस काफी कमजोर (insecure) निकली थी, पर क्या फील्ड में भी ऐसा ही है? इसी की तलाश में रवि Illinois के एक ट्रक स्टॉप पर पहुँचे, जहाँ उन्होंने गाड़ी के कांच साफ करने के लिए ट्रक साइज का लंबा झाड़ू उठाया। छोटे से कार के लिए छः फुट का हैंडल, और बाकी मुसाफिरों की हँसी—सोचिए, गाँव के नल पर बाल्टी के बजाय पीपे से पानी भरने जैसा दृश्य!

तकनीक, तड़का और ट्रक वाला रोमांच

जब रवि ने GPS सेट किया, तो आसपास के वाई-फाई नेटवर्क्स पर नजर गई। एक नेटवर्क दिखा – TrukGrindr, जो किसी ऑटोनॉमस ड्राइविंग टेक्नोलॉजी वाले क्लाइंट का था। अब देसी जिज्ञासा तो जगती ही है—रवि ने सोचा, चलो ट्रक की फोटो लेकर Slack ग्रुप में डाल दें।

लेकिन भैया, ट्रक स्टॉप में ट्रकों की लाइन! कौन सा ट्रक, कौन सा नेटवर्क? रवि ने ट्रक पार्किंग में गाड़ी घुमाई, सिग्नल स्ट्रेंथ देखी—जैसे गाँव में मोबाइल नेटवर्क के लिए छत पर दौड़ते हो। आखिरकार, स्क्रीनशॉट से ही काम चलाया।

फिर रवि निकले John Brown High School की तरफ। वहां के वाई-फाई नेटवर्क्स पर नजर डालते हैं—Guest, Secure और CopperBolt-F01C01। Guest नेटवर्क पर लॉगिन किया, बेधड़क साइट्स खोलने की कोशिश की—फौरन “Blocked by CopperBolt” का मैसेज आया। Secure नेटवर्क ने सर्टिफिकेट मांगा—मतलब सिक्योरिटी सही है। लेकिन CopperBolt-F01C01 तो खुला मैदान निकला, जैसे गाँव के मेले में बिना टिकट के झूले!

रवि ने एडमिन पेज खोल लिया, पर कानून का डर—नई एडमिन आईडी बनाना ठीक नहीं लगा। स्क्रीनशॉट्स लिए, प्रूफ संभाले, ताकि VC लोगों को दिखा सकें कि फील्ड में CopperBolt कितना कमजोर है।

सड़क, स्नैक्स और सूरमा ट्रक की तलाश

अब पेट में चूहे दौड़ रहे थे—भूख लगी, तो पास के पार्क में जाकर “burnt ends sandwich” का स्वाद लिया। लेकिन जैसे ही कुछ चैन आया, फिर वही फील्डवर्क! रिपोर्ट तैयार करनी थी—पर रवि को लगा कि सिर्फ लॉगिन स्क्रीन का स्क्रीनशॉट काफी नहीं, असली असर तो तभी आएगा जब डिवाइस और स्कूल दोनों एक ही फ्रेम में दिखें। जैसे किसी सरकारी अफसर को रिपोर्ट में नहर के किनारे खुद की फोटो चाहिए होती है!

इतनी देर में रवि को फिर से TrukGrindr नेटवर्क की याद आई। देखा, नेटवर्क ट्रक स्टॉप से कुछ मील आगे भी दिखा था। मतलब, ट्रक भी रवि के साथ-साथ सफर कर रहा है! अपने आप को “Speeding Westward” बताते हुए रवि ने हर ट्रक को पीछे छोड़ा, नेटवर्क स्कैन करते रहे। आखिरकार, “White Whale” नाम का सफेद Kenworth ट्रक मिल ही गया। फोटो खींचने की कोशिश की, पर ड्राइविंग के साथ कैमरा संभालना—मुंबई की लोकल ट्रेन में सेल्फी लेने जैसा ही रिस्की!

होटल में हादसा, हेलिकॉप्टर का ट्विस्ट

रात को एक नॉन-ब्रांडेड मोटल में रुके—जहाँ दरवाजा खोलते ही दो मिडिल एज्ड आदमी, हाई-विज जैकेट में, कैमरा ट्राइपॉड के साथ मिले। दोनों उतने ही चौंके जितना रवि! जैसे हिंदी फिल्मों में गलती से गलत कमरे में घुस जाओ। फ्रंट डेस्क से नया कमरा लिया, पेट पूजा की, रिपोर्ट पूरी की, और नींद में खो गए।

सुबह VFW (Veterans of Foreign Wars) क्लब में नाश्ता करते हुए, अगले दिन की बड़ी मीटिंग की तैयारी शुरू की—बीस CTO, CISO, CEO मिलकर साइबर हमलों के सीन पर रील लाइफ रोलप्ले करने वाले थे, मतलब “टेबलटॉप एक्सरसाइज”। दिमाग में वही सवाल—कैसे सबको इंप्रेस करें, पर सेल्समैन न लगें?

इतनी मग्नता में थे कि फोन बजा—वीडियो कॉल जॉइन करनी थी। पार्किंग में मॉन्यूमेंट के सामने बैठकर कॉल में जुड़े। तभी टीम का कोई बंदा बोला, “भाई, पीछे हेलिकॉप्टर तो नहीं?” रवि ने सिर उठाया—वाकई, 15 फीट ऊपर काला हेलिकॉप्टर! पल भर को लगा—अब तो फिल्मी क्लाइमैक्स आ ही गया!

Reddit कम्युनिटी की हाजिरजवाबी और देसी जुड़ाव

इस किस्से ने Reddit की r/TalesFromTechSupport कम्युनिटी में भी खूब रंग जमाया। एक यूजर ने लिखा, “अब तो पार्ट 4 का इंतजार नहीं हो पा रहा!” तो कोई बोला, “मुझे नहीं पता मैं ये क्यों करना चाहता हूँ, पर करता हूँ”—बिल्कुल उसी तरह जैसे हम भारतीय कभी-कभी बिना वजह बस जिज्ञासा में दौड़ पड़ते हैं।

एक और ने लिखा—“ये कहानी तो रोड-ट्रिप, फील्ड पेंटेस्टिंग और ऑफिस कॉमेडी का मिक्स है, और सबसे मजेदार है कि सिक्योरिटी वाले दिमाग का बस चले तो हर जगह नेटवर्क खोजने लगते हैं!” क्या आपको अपने ऑफिस के वो जिज्ञासु कलीग याद नहीं आ गए, जो हर फायरड्रिल में सीरियस होकर पूछते हैं—“ये अलार्म असली है या टेस्ट?”

Reddit पर लोग ये भी पूछ रहे थे—हेलिकॉप्टर असली था या मॉन्यूमेंट? किसी ने मजेदार कमेंट किया—“अगर तुम टैक्सी में होते तो ‘Cabbing Westward’, चाकू लेकर ‘Stabbing Westward’!” यानी, जितनी तेज़ सोच Reddit पर चलती है, उतनी शायद ही कहीं और मिले।

निष्कर्ष: तकनीक के साथ ज़िंदगी का मसाला

रवि की ये यात्रा केवल एक टेक्निकल मिशन नहीं, बल्कि एक देसी मसालेदार कहानी है—जहाँ जिज्ञासा, रोमांच, हल्की बेवकूफियाँ और कभी-कभी अजीब ग़लतफहमियाँ भी शामिल हैं। और यही तो असली ज़िंदगी है—कभी-कभी हम सब CopperBolt के पीछे भाग रहे होते हैं, कभी White Whale ट्रक के, और कभी बस ये जानने के लिए कि हेलिकॉप्टर असली है या बस दिखावा।

अगर आपको ये किस्सा पसंद आया, तो नीचे कमेंट में जरूर बताएं—क्या आपके साथ भी कभी ऐसी टेक्नोलॉजी वाली, हल्की-फुल्की या चटपटी घटना घटी है? और हाँ, Reddit कम्युनिटी की तरह—अब तो सबको पार्ट 4 का बेसब्री से इंतजार रहेगा!


मूल रेडिट पोस्ट: This is my job! I'm actually paid to do this, part 3